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पटना मेट्रो के लिए मिले 559 करोड़ रुपये, भू-अर्जन व निर्माण कार्य पर होंगे खर्च

Bihari News

राज्य सरकार ने फिर से 559 करोड़ रुपये पटना मेट्रो रेल परियोजना के लिए दिए हैं. इन 559 करोड़ रुपयों में से 100 करोड़ रूपए की राशी निर्माण कार्यों पर खर्च की जाएगी. वहीँ 459 करोड़ रुपयों को भूअर्जन मद में खर्च किये जाने हैं. राशी के निकासी की स्वीकृति नगर विकास एवं आवास विभाग द्वारा दे दी गयी है. जो की इन रुपयों को पटना मेट्रो रेल कारपोरेशन लिमिटेड को जरूरत के अनुसार बिहार शहरी विकास अभिकरण के माध्यम से उपलब्ध करवाए जाएंगे.

विभाग द्वारा बताया गया की राज्य सरकार को इस परियोजना के लिए भूअर्जन में 9201 करोड़ रुपये और निवेश मद में 1840 करोड़ रुपयों का योगदान देना है. जिसमे अभी तक राज्य सरकार की तरफ से राशी के निकासी की स्वीकृति 1670.58 करोड़ रूपये तक दी गयी है. जिसमे भूअर्जन के लिए 1058.08 करोड़ रुपये और निवेश के लिए कुल 612.50 करोड़ रुपये दिए गये हैं. जहाँ निवेश मद 464 करोड़ रुपये और भूअर्जन में करीब 536 करोड़ रुपये अब तक पटना मेट्रो रेल कारपोरेशन लिमिटेड ने खर्च किये.

पटना मेट्रो के लिए प्रोजेक्ट की कुल राशी में केंद्र और राज्य सरकार की 20-20 प्रतिशत की हिस्सेदारी है जिसमे भूमि अधिग्रहण, विस्थापितों के पुनर्वास और प्राइवेट पब्लिक पार्टनरशिप के अवयव शामिल नहीं हैं. बाह्य एजेंसी से बाकि के बचे 60 प्रतिशत का ऋण लिया जाना है. जापान अंतर्राष्ट्रीय सहयोग एजेंसी से इस ऋण के लिए बात की जा रही है. निर्माण कंपनी के मुताबिक जल्द हीं ऋण देने की उम्मीद जापान अंतर्राष्ट्रीय एजेंसी से की जा रही है. बता दें की एलिवेटेड और भूमिगत दोनों रूटों पर फ़िलहाल तेजी से काम किया जा रहा है. सबसे पहले छह किलोमीटर लम्बा एलिवेटेड रूट प्रायोरिटी कोरिडोर मलाही पकड़ी से बैरिया के नए बस स्टैंड तक है जहाँ सबसे पहले काम को पूरा किया जाना है. इसके अलावे भूमिगत रुट का काम भी राजेंद्रनगर के मोइनुलहक़ स्टेडियम से फ्रेज़र रोड के आकाशवाणी स्टेशन तक चल रहा है. वहीँ डीवाल का काम भूमिगत रूट के स्टेशनो का जारी है. यहाँ सुरंग के जरिए उन्हें आपस में जोड़ा जाएगा लेकिन उससे पहले स्टेशन बॉक्स का निर्माण किया जाना है.

बता दें की पटना मेट्रो में सफ़र करने के लिए पटनावासियों को अभी और इंतजार करना पड़ेगा. क्योंकि यह परियोजना अपने तय समय से थोड़ा लेट चल रहा. मिली जानकारी के अनुसार केवल 5 प्रतिशत हीं पटना मेट्रो परियोजना का काम पूरा किया गया है. दरअसल इस बात की जानकारी संसद के चालू सत्र में केंद्र सरकार द्वारा प्रस्तुत आंकड़ों से मिली थी. फरवरी 2019 में भारत सरकार द्वारा पटना मेट्रो रेल परियोजना को मंजूरी दी गयी थी. मंजूरी मिलने के समय से आने वाले पांच सालों में यानि 2024 तक इस परियोजना को पूर्ण करने की बात कही गयी थी. लेकिन अब इस अवधि को बढ़ा कर साल 2027 कर दिया गया है. जिस रफ़्तार से इस परियोजना पर काम चल रहा है उसे देख कर ऐसा लग रहा की इस परियोजना का काम पूरा होने में और भी अधिक समय लगे. जब पटना मेट्रो का निर्माण कार्य पूरा हो जाएगा तो बिहार भी पटना मेट्रो सिटी की सूची में शामिल हो जाएगा. यहाँ के लोगों और प्रशासन को जाम की समस्या से भी निजात मिल जाएगी.

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