पिछले दिनों नीतीश कैबिनेट की बैठक में 36 एंजेंडों पर मुहर लगी है. जिसमें कई अहम मुद्दे भी शामिल हैं. हालांकि इस पूरी कैबिनेट की बैठक में एक बात है जो कि बड़े ही जोर-शोर के साथ कहा जा रहा है कि कैबिनेट की बैठक में मंत्रियों भत्ते में बढ़ोतरी हुई है. बता दें कि पहले विधायकों, विधान पार्षदों के बाद अब मंत्रियों के भत्ते में भी 30 हजार रुपये महीने की बढ़ोतरी को मंजूरी मिल गई है. कुछ समय पहले बिहार में विधायकों के वेतन में बढ़ोतरी हुई थी. इसके साथ ही साथ OBC-EBC छात्रों के लिए नी स्कॉलरशिप स्कीम को मंजूरी दी गई है.
इस कैबिनेट की बैठक में OBC और EBC ने नई छात्रवृत्ति योजना का विवरण साझा करते हुए बिहार के एक कैबिनेट मंत्री ने टीओआई से बात की. उन्होंने कहा कि ओबीसी और ईबीसी छात्रों के लिए केंद्र की ओर से छात्रवृत्ति योजना चल रही थी. केंद्र सरकार शुरू में 100 फीसदी सपोर्ट करती थी, बाद में केंद्र ने इसे बदलकर 60:40 कर दिया. केंद्र ने इस योजना में अपने योगदान पर एक लिमिट तय कर दी. जिससे इसका शेयर लगभग 20 फीसदी तक कम हो गया.
कैबिनेट मंत्री ने कहा कि केंद्र के हिस्से में धीरे-धीरे कमी को देखते हुए सीएम नीतीश कुमार ने राज्य से नई स्कॉलरशिप स्कीम शुरू करने का फैसला लिया. जानकारी के मुताबिक, पहले, ओबीसी/ईबीसी छात्रों के लिए स्कॉलरशिप योजना समाज कल्याण विभाग के तहत आती थी. लेकिन नई योजना शिक्षा विभाग के दायरे में रहेगी. छात्रवृत्ति की राशि डायरेक्ट बेनिफिट ट्रांसफर के तहत लाभार्थियों के बैंक खातों में जमा की जाएगी.
हालांकि नीतीश कैबिनेट ने शिक्षकों के 7 हजार नए पदों के सृजन के लिए मंजूरी दे दी है. इन शिक्षकों की विशेष बच्चों (दिव्यांग) को पढ़ाने के लिए बहाली करनी है. शिक्षा विभाग जल्द ही इनकी नियुक्ति के लिए आगे की कार्यवाही करेगा.
इस कैबिनेट की बैठक में OBC और EBC ने नई छात्रवृत्ति योजना के बारे में बात करते हुए कहा कि OBC और EBC छात्रों के लिए केंद्र की ओर से छात्रवृत्ति योजना चल रही थी. जिसमें केंद्र का 100 फीसदी सपोर्ट मिलता था. लेकिन बाद में केंद्र ने बाद में इसकी हिस्सेदारी 60:40 कर दिया गया था. हालांकि केंद्र ने इस योजना में अपने योगदान पर एक लिमिट तय कर दी. जिससे इनका शेयर लगभग 20 पीसदी तक कम हो गया. जिसके बाद बिहार के मुख्यमंत्री ने प्रदेश में एक नई स्कॉरशीप स्कीम शुरू करने का फैसला कर लिया है. बता दें कि पहले जो स्कॉलरशीप मिलती थी वह समाज कल्याण विभाग के तहत मिलती थी अब यह शिक्षा विभाग के तहत आ गई है. ऐसे में यह कहा जा रहा है कि इन छात्रवृत्ति को डायरेक्ट बेनिफिट ट्रांसफर के तहत लाभार्थियों के खाते में डाल दिए जाएँगे.